इस पोस्ट मे हम कुछ प्राक् ऐतिहासिक काल के बारे में बात करेगें।
प्राक् ऐतिहासिक काल :- इतिहास का वहा समय जिसमें मानव लिख-पढ नही सकता था । इसकी जानकारी केवल पुरातात्विक साक्ष्य से ही मिला है। इसी काल में पत्थर की खोज हुई थी इसी लिये इसे पाषाण काल भी कहते है।
पाषाण काल को चार भागो में बांटा गया है :-
1- पुरा
पाषाण काल
2- मध्य
पाषाण काल
3- नव
या उत्तर पाषाण काल
4- ताम्रपाषाण
काल
पुरा पाषाण काल :- इस समय मानव को आदिमानव
कहा जाता था। इसी समय आग की खोज भी की गई एवं मानव को खानाबदोश कहा जाता है।
मध्य पाषाण काल
:- इस समय मानव के हथियार का आकार पहले की तुलना
में छोटे हो गये थे। इसी समय मानव की अंत्योष्टि का कार्यक्रम भी शुरू हो गया था।
नव या उत्तर पाषाण काल
:- इस काल में मानव ने स्थायी आवास बना लिया
था। एवं इसी काल में कृषि तथा पशुपालन का कार्य
भी प्रारम्भ कर दिया था। इसी काल में पहिया तथा मनका
की खोज की गई ।
मानव द्वारा पहला पशु कुत्ता
पाला गया था।
ताम्रपाषाण काल :- यह पाषाण काल का अंतिम समय था इसी काल में तांबे की खोज हो गई थी
No comments:
Post a Comment